जूडा की हड़ताल: 116 जूडा को सस्पेंड और पंजीयन रद्द करने की तैयारी - Web India Live

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जूडा की हड़ताल: 116 जूडा को सस्पेंड और पंजीयन रद्द करने की तैयारी

भोपाल. मरीजों का इलाज आयुर्वेद, होम्योपैथी और यूनानी डॉक्टर करेंगे। दिल, दिमाग या दुर्घटना के बाद जटिल ऑपरेशन में भी आयुष डॉक्टर ही साथ देंगे। ये अजीब लग सकता है, लेकिन कुछ दिनों तक हमीदिया अस्पताल का यही हाल रहेगा। दरअसल, गांधी. मेडिकल कॉलेज में जूनियर डॉक्टर (जूडा) की हड़ताल देखते हुए विभाग ने आयुष डॉक्टरों की ड्यूटी विभागों में लगाई है। हड़ताल खत्म होने तक ओपीडी में दवाएं देने से लेकर डिलेवरी और अन्य ऑपरेशन में आयुष डॉक्टर ही शामिल रहेंगे।

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सोमवार को जीएमसी सहित प्रदेश के 7 मेडिकल कॉलेज के करीब 3 हजार जूनियर डॉक्टरों ने हड़ताल कर दी। उन्होंने इमरजेंसी, आइपीडी, ओपीडी, वार्ड ड्यूटी बंद कर दी है। उन्होंने चेतावनी दी है कि मांगे नहीं मानी तो मंगलवार से कोविड और म्यूकोर वार्ड की ड्यूटी भी बंद कर देंगे।

सरकार की सख्ती शुरू
जूडा की हड़ताल पर सरकार ने सख्ती शुरू कर दी है। हड़ताल करने वाले 116 जूडा पर कॉलेज से सस्पेंड करने और पंजीयन रद्द करने की तैयारी चल रही है। डीन के आदेश के कहा गया है कि जो जूडा काम नहीं गए हैं वो मेडिकल काउंसिल के नियमों के खिलाफ है। ऐसे में इनका रजिस्ट्रेशन रद्द किया जा सकता है।

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ऑपरेशन में कैसे लेंगे सहयोग
हमीदिया अस्पताल के सीनियर डॉक्टरों का कहना है कि जूडा की जगह आयुष डॉक्टर की ड्यूटी समझ से परे है। ओपीडी से लेकर ऑपरेशन थिएटर तक जूनियर डॉक्टर कंसलटेंट की तरह की काम करता है। आयुष डॉक्टर्स की पैथी अलग है, वे ओटी कैसे संभाल सकते हैं।

एचओडी पर बना रहे दबाव
जूडा सचिव डॉ. हरीश ने बताया कि प्रशासन हड़ताल को बैअसर साबित करने झूठा प्रोप्रोगेंडा फैला रहा है। विभाग द्वारा सभी एचओडी को जूडा की अटेंडेंस के लिए फार्म भेजा है। एचओडी पर दबाव डालकर उसमे पूरी अटेंडेंस भरवा ली, जबकि एक भी जूडा काम पर नहीं गया।

10 ऑपरेशन टले, 300 मरीज हुए परेशान

हड़ताल के कारण अस्पताल में इमरजेंसी में पहुंचे 300 मरीजों को परेशान होना पड़ा। हड़ताल के चलते 10 ऑपरेशन टालने पड़े। डीन जितेन शुक्ला के मुताबिक कोविड के चलते वैसे ही रुटीन ओपीडी कमहो रही है। ऑपरेशन की संख्या भी कम रहती है। हमने अन्य डॉक्टरों की ड्यूटी लगा दी है। मरीजों को दिक्कत नहीं होगी।

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